Suvichar sanskar suvichar - सुविचार संस्कार सुविचार
Suvichar he life ko sahi disha dikhati hai. Or ek suvichar he hai jo insan ko sanskar sikhata hai. Sanskar suvichar jab tak aap apne life me apply nhi karenge tab tak aap success nhi ho sakte. Har insan jo aaj successful hai unke discipline ke karn hi hai or vo discipline suvichar se hi aata hai.
Suvichar hi hai jo aapko success dila sakta hai. Aap in suvichar sanskar suvichar सुविचार संस्कार सुविचार ko apne life me apply kare.
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Top-20 suvichar sanskar suvichar सुविचार संस्कार सुविचार
मत सोच इतना जिंदगी के बारे में
जिसने जिंदगी दी है
उसने भी कुछ सोचा होगा।
बीच रास्ते से लौटने का कोई फायदा नहीं
क्योकि लौटने पर आपको
उतनी ही दुरी तय करनी पड़ेगी
जितनी तय करने पर आप लक्ष्य तक पहुंच सकते थे।
जब तक आप खुद पर विश्वास नहीं करते
तब तक आप
भगवान पर भी विश्वास नहीं कर सकते।
हम विश्वास के साथ
जिस चीज की भी उम्मीद करते है
वह स्वयं को पूर्ण करने वाली
भविष्यवाणी बन जाती है।
यदि तुम चाहते हो
की दूसरे तुम्हारी प्रशंसा करें
तो पहले तुम दुसरो की
प्रशंसा करना सीखो।
जब प्यार और नफरत दोनों ही नहीं होते
तो हर चीज साफ और स्पष्ट हो जाती है।
जिंदगी को समझने में वक्त न गुजारिए
थोड़ा जी कर देखिए
पूरी समझ में आ जाएगी।
अगर आप उन बातो एवं परिस्थितियों की वजह से
चिंतित हो जाते है जो आपके नियंत्रण में नहीं है
तो इसका परिणाम समय की बर्बादी
एवं भविष्य में पछतावा है।
भगवान यह अपेक्षा नहीं करते की हम सफल हो
वे तो केवल इतना ही चाहते है की हम प्रयास करें।
किसी भी व्यक्ति की कोई बात बुरी लगे
तो दो तरह से सोंचो
यदि व्यक्ति महत्वपूर्ण है तो बात को भूल जाओ
और बात महत्वपूर्ण है तो व्यक्ति भूल जाओ।
Top-20 suvichar sanskar suvichar सुविचार संस्कार सुविचार
वो लोग कभी सफल नहीं होते
जो परिणाम से ज्यादा काम में आने वाली
मुश्किलों के बारे में विचार करते है।
क्रोध के समय थोड़ा रुक जाएं
और गलती के समय थोड़ा झुक जाएं
तो दुनिया की सब समस्याएं खत्म हो जाएंगी।
जिसका वृत्तांत सुनकर, जिसको देखकर,
जिसका स्मरण करके
समस्त प्राणियों को आनंद होता है
उसी का जीवन शोभा देता है।
दुनिया की हर चीज ठोकर लगने से टूट जाती है
एक कामयाबी ही है
जो ठोकर खाकर ही मिलती है।
अपने जीवन को बदलने के लिए
आपको केवल एक व्यक्ति की आवश्यकता होती है
और वो है आप खुद।
जीवन के अच्छे दिनों में
कभी भी उन लोगो को न भूले
जो जीवन के बुरे दिनों में आपके साथ थे।
परिवर्तन कभी पीड़ादायक नहीं होता
केवल परिवर्तन का विरोध
पीड़ादायक होता है।
कभी भी दुसरो को ना आंके
क्योकि आप ये नहीं जानते
की वो जीवन में किस तरह के हालात का
सामना कर रहे है।
इंसान के दुखी होने के दो प्रमुख कारण है
दुसरो से अत्यधिक अपेक्षा रखना
और खुद को बदलने की कोशिश न करना।
लोग तुम्हारे बारे में क्या सोचते है
यह उतना महत्वपूर्ण नहीं है
जितना की तुम अपने बारे में क्या सोचते हो।
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